अरे ओ बब्बन सुने नाहीँ देवत एक आवाज मे.
अरे नाही भैया हम तो हनी भाई
का गाना सुनत रहै.
अबे कौन हनी भाई कौन है ये ससुर का नाती.
अरे भैया जी बहुत हि फेमस गायक कलाकार है
पूरा देश दिवाना है इनका.
अबे पर गाते क्या है राग ठुमरी के "हमार
भौजाई के संग खेली होली" एल्बमवा के गाने.
अरे नाही भैया रे तो बहुत हि जबराकु रेपर है.
हठ ठर्कि सुबह सुबह क्या अनाप शनाप
गंदि बाते करते हो.
अरे भैया नाही ये उ टाईप के रेपर नाही.
तो कौन टाईप के रेपर है ?
भैया तनिक कान मे इयरफोन तो लगाये के सुनो.
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अबे हटा रे इ बुडबड को का अनाप शनाप बके
है ये ससुरा कछु समझ नही पडत.
अरे भैया जी आप रहने दो आप से
ना हो पायेगा
अबे बब्बन तुमको क्या समझ पडत है इस
चिल्लाहट मे.
भैया जी इसे कहते है
!
हाप हिपहाफ भैया इसे कहते है हिपहाप हिपहाप
आँखे भले हम मीच ले, पर दिन तो न ढलता हैं। सुबह-अख़बार-चाय और कहना, सब ऐसे ही चलता हैं। यह चक्र हैं दुनिया गोल हैं सब वही पर आता हैं। जो करता वो भी भरता हैं, जो देखे वो भी चुकाता हैं। सूरज को दीपक दिखाते, और अंधियारी रात करते हैं। हम कद में छोटे सही, बड़े ख़यालात करते हैं। कोई हो शहंशाह घर का, हम डट कर मुलाकात करते हैं। छोटा मुंह हैं, मगर बड़ी बात करते हैं।
रविवार, 3 अगस्त 2014
हिपहाप हिपहाप
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